आम पसंदीदा फलों में से एक है। गर्मियों में लोग आम का उपभोग जमकर करते हैं। पोषकतत्त्वों से भरपूर आम कई गंभीर बीमारियों को दूर रखने में मदद करता है, और शरीर को ज़रूरी पोषण प्रदान करता है। बहुत से लोग आम के शेक बनाकर पीना भी पसंद करते हैं। मैंगो शेक भी बहुत स्वादिष्ट और पोषकतत्त्वों से भरपूर होता है, क्योंकि इसमें आम और दूध के साथ ही कई ड्राई फ्रूट्स और नट्स भी डाले जाते हैं। लेकिन अक्सर देखा जाता है कि कुछ लोग आम खाने की तुलना में मैंगो शेक पीना ज़्यादा पसंद करते हैं और दिन में कई गिलास मैंगो शेक पी जाते हैं। ऐसा करना आपकी सेहत के लिए बहुत नुकसानदायक हो सकता है।
आयुर्वेद के अनुसार मैंगो शेक एक विरुद्ध आहार है। दूध और आम दोनों की प्रकृति एक दूसरे से अलग होती है। इन दोनों का मिश्रण सेहत के लिए बहुत नुकसानदायक होता है। विरुद्ध आहार दो ऐसे फूड्स का कॉम्बिनेशन होता है, जिनमें एक दूसरे से अलग क्वालिटी होती है। दूध पचने के बाद मीठा होता है और आम पचने के बाद खट्टा होता है। दूध और आम दोनों के ही पचने के बाद वाले प्रभाव अलग-अलग होते हैं। यह आपके मेटाबॉलिज्म को प्रभावित करता है और आपके शरीर में अतिरिक्त चर्बी और टॉक्सिन्स का कारण बनता है। लंबे समय में यह कई स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है जैसे-त्वचा संबंधी रोग, सूजन, डाइजेशन संबंधी समस्याएं, सांस संबंधी रोग, कमजोर इम्यूनिटी और लगातार सर्दी-जुकाम, यहााँ तक कि यह प्रजनन क्षमता को भी प्रभावित कर सकता है।
मैंगोशेक का ज़्यादा मात्रा में सेवन करने से यह शरीर की गर्मी को बढ़ाता है साथ ही आपके शरीर के वजन को बढ़ा सकता है। इतना ही नहीं मैंगोशेक का अधिक सेवन आपका पेट खराब कर सकता है। डायबिटीज और प्रीडायबिटीज वाले लोगों को तो मैंगोशेक का सेवन करने से बचना चाहिए। पके आम बहुत मीठे होते हैं, जो ब्लडशुगर में स्पाइक का कारण बनते हैँ, इसलिए आम खाने से और मैंगोशेक पीने से परहेज करना चाहिए।