शहडोल। ओलंपिक खेलों में अब मध्यप्रदेश के आदिवासी बच्चे भी अपनी प्रतिभा दिखा सकेंगे। इसके लिए प्रदेश सरकार ने विशेष तैयारी की है। शहडोल के विचारपुर में फ्रांस की एक कंपनी ने एशिया की सबसे बड़ी स्पोर्ट्स क्लाइम्बिंग वॉल तैयार की है। प्रदेश सरकार का मानना है कि आदिवासी युवाओं की मांसपेशी और शरीरिक क्षमता ज़्यादा प्रभावी होती है। पर्वतों में चढऩे उतरने का हुनर शहरी बच्चों की अपेक्षा आदिवासी बच्चों में ज़्यादा होता है।
इस कारण अब भारत सरकार ने क्लाइंबिंग वॉल खेल में आदिवासी बच्चों को आगे बढ़ाने का फैसला लिया है। इसी कड़ी में मध्यप्रदेश के शहडोल में प्रदेश सरकार ने 06 करोड़ की लागत से एशिया की सबसे बड़ी स्पोर्ट्स क्लाइम्बिंग वॉल का निर्माण कराया है। शहडोल के विचारपुर में स्पोर्ट्स क्लाइंबिंग वॉल को लगाने का काम पूरा हो चुका है।
गौरतलब है कि यूरोपियन देशों में क्लाइंबिंग वॉल का खेल बहुत मशहूर है। ओलंपिक खेल के दौरान इन्हीं देशों का डंका विश्व में बजता है। जिस कारण अब भारत में भी इसकी तैयारियां जोरों पर है। प्रदेश सरकार ने आदिवासी बच्चों को इस खेल से जोडऩे की रणनीति भी तैयार की है।